कायाकल्प की राज्यस्तरीय टीम रंगरा और इस्माइलपुर सीएचसी की व्यवस्था से संतुष्ट


-पटना से आई टीम ने दोनों अस्पतालों का बारीकी से किया निरीक्षण

-टीम में शामिल सदस्यों ने अस्पतालों में एक-एक चीज की ली जानकारी


भागलपुर, 2 नवंबर -


 कायाकल्प की राज्य स्तरीय टीम ने बुधवार को रंगरा और इस्माइलपुर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) का मूल्यांकन किया। पटना से आई कायाकल्प की टीम ने अस्पताल में मरीजों को मिलने वाली सुविधाओं को देखा। एक-एक चीज की बारीकी से जानकारी ली। अस्पताल में साफ-सफाई से लेकर ओटी, लेबर रूम, पार्किंग, गार्डेन इत्यादि को जाना। राज्य स्तरीय मूल्यांकन के लिए आई कायाकल्प की टीम में केयर इंडिया पटना से विकास पांडेय और राज्य स्वास्थ्य समिति से रंजन कुमार शामिल थे। उनके साथ जिला से गुणवत्ता सलाहकार डॉ. प्रशांत कुमार और केयर इंडिया के डीटीएल डॉ. निनकुश अग्रवाल भी मौजूद थे। दोनों ही अस्पतालों के मूल्यांकन के बाद राज्य स्तरीय टीम संतुष्ट दिखी। जिला गुणवत्ता सलाहकार डॉ. प्रशांत कुमार ने बताया कि पटना से आई टीम ने दोनों अस्पतालों में मरीजों को मिलने वाली सुविधाओं को परखा। एक-एक चीज की जानकारी ली। टीम के सदस्य दोनों ही अस्पतालों की व्यवस्था से संतुष्ट दिखे। कायाकल्प मूल्यांकन में जिले के अस्पताल पहले से बेहतर करते आए हैं। मुझे उम्मीद है कि इस बार भी बेहतर करेगा और उसमें रंगरा और इस्माइलपुर को भी जगह मिल सकती है।

दोनों अस्पतालों की व्यवस्था संतोषजनकः मूल्यांकन करने पटना से आए राज्य स्वास्थ्य समिति के रंजन कुमार ने बताया कि दोनों ही अस्पतालों में सभी कुछ दुरुस्त था। मरीजों को मिलने वाली सुविधाएं संतोषजनक थी। सबसे अच्छी बात यह है कि दोनों ही अस्पताल बाढ़ प्रभावित क्षेत्र में स्थित हैं। बारिश के मौसम में यहां पर काफी पानी जमा हो जाता है। बारिश खत्म होने के बाद भी यहां पर पानी रहता है। इसके बावजूद यहां के स्वास्थ्यकर्मी मरीजों को सेवा उपलब्ध करवाते हैं। यह बहुत ही सुखद अनुभव है। पानी के वक्त नाव के जरिये लोगों तक स्वास्थ्य सेवा पहुंचाना बहुत ही सकारात्मक बदलाव है। बड़ी बात यह है कि इस बात की पुष्टि यहां पर आने वाले मरीज कर रहे थे। अगर अस्पताल में आने वाले मरीज वहां की व्यवस्था से संतुष्ट हो तो यह बहुत ही महत्व रखता है। इसके लिए मैं दोनों ही अस्पतालों के प्रभारी समेत सभी स्वास्थ्यकर्मियों को बधाई देता हूं।

डेंगू के इलाज की भी थी व्यवस्थाः राज्य स्वास्थ्य समिति के रंजन कुमार ने बताया कि दोनों ही अस्पतालों में डेंगू के इलाज तक की व्यवस्था थी। सीएचसी स्तर पर डेंगू के इलाज होने की व्यवस्था बहुत बड़ी बात है। अस्पतालों के ओपीडी से लेकर लेबर रूम तक साफ-सुथरे थे। मरीजों के लिए दवा उपलब्ध थी। इस तरह की ही व्यवस्था से लोगों की सोच बदल रही है। पहले लोग सरकारी अस्पताल में इलाज कराने से कतराते थे, लेकिन अब लोगों का भरोसा बढ़ा है। वह सरकारी अस्पतालों में इलाज कराने के लिए आ रहे हैं। उसका प्रमुख कारण यही है कि इन अस्पतालों में मिलने वाली सुविधाएं बेहतर हुई हैं। मुझे उम्मीद है कि आने वाले दिनों में सुविधाएं और भी बेहतर होंगी।

रिपोर्टर

  • Aishwarya Sinha
    Aishwarya Sinha

    The Reporter specializes in covering a news beat, produces daily news for Aaple Rajya News

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